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वाराणसी आ रहे PM Modi : काशी को देंगे Ropeway की सौगात, एक घंटे में इतने यात्री कर सकेंगे Ropeway में सफर

Varanasi : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 24 मार्च को अपने संसदीय क्षेत्र बनारस में देश के पहले सार्वजनिक परिवहन रोपवे की आधारशिला रखेंगे। PM वाराणसी के कैंट रेलवे स्टेशन पर इसका शिलान्यास करेंगे, जिसकी तैयारी युद्धस्तर पर चल रही है। वहीं रोपवे बनने के बाद काशी विश्वनाथ जाने वाले श्रद्धालुओं की राह आसान हो जाएगी। रेलवे स्टेशन पहुंचने पर पर्यटक कुछ ही मिनटों में गोदौलिया पहुंच जाएंगे और फिर बाबा विश्वनाथ के दर्शन के लिए आगे बढ़ेंगे।

बता दें कि पहले चरण में रोपवे कैंट रेलवे स्टेशन से शुरू होकर गोदौलिया चौराहे को जोड़ेगा। इस दौरान रोपवे कुल पांच स्टेशनों- कैंट रेलवे स्टेशन, विद्यापीठ स्टेशन, रथ यात्रा, गिरघर और गोदौलिया स्टेशन से होते हुए 4.5 किमी की दूरी तय करेगा। रोपवे के चालू हो जाने के बाद एक से डेढ़ घंटे का समय घटकर 16 मिनट हो जाएगा।साथ ही रोपवे कार में 10 लोगों के बैठने की सुविधा होगी। 555 करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट को लेकर प्रशासन ने तैयारियां तेज कर दी हैं। प्रथम चरण के लिए 31 करोड़ रुपए की राशि जारी की जा चुकी है। वहीं काम शुरू होने के साथ ही दो साल के अंदर रोपवे का संचालन शुरू हो जाएगा। इस तरह 2025 पर श्रद्धालु रोपवे से सफर कर सकेंगे।

रोपवे पर डालते हैं एक नजर

देश के पहले अर्बन रोपवे की कुल लंबाई 3.75 किमी होगी। इसमें पांच स्‍टेशन बनाए जाएंगे, लेकिन चढ़ने उतरने के लिए चार स्‍टेशन ही होंगे। पांचवां स्‍टेशन तकनीकी कारणों से बनाया जाएगा। इन चार स्‍टेशनों में पहला कैंट रेलवे स्‍टेशन होगा, जहां से रोपवे शुरू हो रहा है, दूसरा विद्यापीठ, तीसरा रथयात्रा और चौथा, अंतिम स्‍टेशन गोदौलिया होगा। चूंकि इसके आगे मंदिर जाने के लिए वाहन नहीं जाते हैं, इसलिए यहीं तक रोपवे चलाया जाएगा।

एक घंटे में 3000 यात्री कर सकेंगे सफर

बता दें कि रोपवे की केबल कार पर प्रति घंटे 3000 यात्री सफर कर सकेंगे। लोगों की संख्‍या बढ़ाने के साथ केबल कारों की संख्‍या बढ़ाई जाएगी। शुरुआती दौर में 300 यात्री प्रति घंटे सफर कर सकेंगे।

केबल कार में होगी 10 सीट

इस रोपवे में 10 सीटों वाली केबल कार चलाने की तैयारी है। शुरुआत में कुल 18 केबल कार रोपवे में चलेंगी। हालांकि रोपवे का डिजाइन ऐसा किया जाएगा कि केबल कार की संख्‍या जरूरत के अनुसार बढ़ाई जा सके।

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