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तीन दिवसीय कार्यशाला : सेवा का भी कीर्तिमान स्थापित कर रहा BHU- डॉक्टर दयालु

Varanasi : दंत चिकित्सा विज्ञान संकाय, काशी हिन्दू विश्वविद्याल की ओर से दंत प्रत्यारोपण पर केंद्रित तीन दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला का उद्घाटन उत्तर प्रदेश सरकार के आयुष मंत्री डॉ. दयाशंकर मिश्र दयालु द्वारा किया गया।

30 सितम्बर से 2 अक्टूबर तक चलने वाले तीन दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला का शीर्षक Mild To Moderate Difficulty Cases In Dental Implantology
(दंत प्रत्यारोपण में हल्की व मध्यम तकनीकी समस्याओं का निवारण) है, जिसमें कृत्रिम दांतो को लगाते समय होने वाले मध्यम व अतिमध्यम स्तर की समस्याओं के निवारण के संबंध में देश भर के दर्जनों दंत चिकित्सा संस्थानों से आए हुए 100 से ज्यादा प्रतिनिधि विचार-विमर्श के साथ ही विषय विशेषज्ञों से प्रशिक्षण प्राप्त करेंगे।

इस तीन दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला का उद्देश्य मरीजों की दांतों को इंप्लांट की सुविधाजनक व सहज तकनीक को विकसित करने के क्रम में विषय विशेषज्ञों को नई तकनीक के माध्यम से प्रशिक्षित करना है।

इस तीन दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला में पुराने इंप्लांट के मरीजों को बुलाकर उनका फीडबैक (प्रतिपुष्टि )भी ली जाएगी।

मालवीयजी की प्रतिमा पर माल्यार्पण, दीप प्रज्वलन व कुलगीत गायन की पावन परम्परा के साथ कार्यशाला की विधिवत शुरुआत की गई। उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए उत्तर प्रदेश सरकार के आयुष मंत्री डॉ. दयाशंकर मिश्र दयालु ने कहा कि काशी हिन्दू विश्वविद्यालय केवल शिक्षा के क्षेत्र में ही नहीं चिकित्सा के क्षेत्र में भी वर्तमान दौर में सेवा का एक कीर्तिमान स्थापित कर रहा है।

चिकित्सा विज्ञान संस्थान के ऊपर वाराणसी के आसपास के कई दर्जन जिलों की निर्भरता तथा लगातार मरीजों की बढ़ती हुई भीड़ को समुचित चिकित्सा उपलब्ध कराना एक बड़ी जिम्मेदारी है, जिसमें बीएचयू ने अपने संसाधनों को बढ़ाते हुए ट्रामा सेंटर, मल्टीस्पेशलटी व महामना कैंसर अस्पताल के रूप में मरीजों को राहत पहुंचाया है।

सर सुंदरलाल अस्पताल के आईसीयू की क्षमता बढ़ाए जाने, महामना कैंसर अस्पताल में बेड व सुविधाएं बढ़ाए जाने के लिए अपनी तरफ से शासन को भेजे गए प्रस्ताव की चर्चा करते हुए आयुष मंत्री ने आगे कहा कि बीएचयू का दंत चिकित्सा विज्ञान संस्थान पूर्वांचल तथा आसपास के मरीजों की उम्मीदों पर खरा उतर रहा है, इसकी सुविधाओं के उच्चीकरण के लिए हम सभी संकल्पित हैं।

कृत्रिम विधि से दंत प्रत्यारोपण पर आधारित इंप्लांट की पद्धति को सस्ती तथा आमजन की पहुंच में लाए जाने के प्रयासों की सराहना करने के साथ ही माननीय आयुष मंत्री ने उत्तर प्रदेश शासन व मंत्रालय की तरफ हर संभव मदद की आश्वस्ति भी प्रदान की।

विज्ञान व तकनीकी मंत्रालय, भारत सरकार की संस्था DST की प्रतिनिधि डॉ. अनीता अग्रवाल ने विभाग की तरफ से दंत चिकित्सा विज्ञान संस्थान की इंप्लांट पद्धति पर किए जा रहे प्रयासों की प्रशंसा तथा हर प्रकार के तकनीकी सहयोग का आश्वासन दिया।

दंत चिकित्सा विज्ञान की ओर से आयोजित इस कार्यशाला के संयोजक प्रो. राजेश बंसल ने बताया कि इस कार्यशाला का उद्देश्य सहज, सरल व कम कीमत पर इंप्लांट पद्धति से कृत्रिम दंत प्रत्यारोपण के द्वारा साधारण व गरीब मरीजों को भी लाभ पहुंचाना है।

अतिथियों का स्वागत संकाय के डीन प्रो. विनय कुमार श्रीवास्तव ने व धन्यवाद ज्ञापन डॉ. चंद्रेश जैसवारा ने किया। इस कार्यक्रम में प्रमुख रूप से प्रोफेसर वकील सिंह, प्रो. बीएम गुप्ता, विनय गुप्ता, प्रो. बीएन सिंह, शैलेंद्र किशोर पाण्डेय मधुकर, डॉ. मोनिका बंसल, डॉ. नरेश शर्मा, डॉ. एचसी बरनवाल, डॉ. रमेश सोनी, डॉ. नीरज धीमान, डॉ. अमित शर्मा आदि लोग मौजूद थे।

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