प्रमोशन पार्टी में नाच-गाने का मामला: डिप्टी सीएम के आदेश के बाद भी जांच में सुस्ती
वाराणसी: दीनदयाल उपाध्याय जिला अस्पताल में स्टाफ नर्सों और कर्मचारियों द्वारा प्रमोशन पार्टी के दौरान फिल्मी गानों पर डांस का वीडियो वायरल होने के बाद भी जांच तीन दिन बाद तक शुरू नहीं हो पाई है। डिप्टी सीएम और स्वास्थ्य मंत्री ब्रजेश पाठक के सख्त निर्देश के बावजूद कार्रवाई में देरी ने स्वास्थ्य विभाग की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
क्या है मामला?
- 14 नवंबर को स्वास्थ्य मंत्री ने वायरल वीडियो का संज्ञान लेते हुए सीएमओ डॉ. संदीप चौधरी को एक सप्ताह में जांच रिपोर्ट देने के निर्देश दिए थे।
- वीडियो में चार स्टाफ नर्सों के प्रमोशन की खुशी में ड्यूटी ड्रेस में नर्सों और कर्मचारियों को फिल्मी गानों पर ठुमके लगाते देखा गया।
- यह वीडियो वायरल होने पर उपमुख्यमंत्री ने नाराजगी जाहिर करते हुए सोशल मीडिया पर कार्रवाई का आश्वासन दिया था।
जांच में देरी क्यों?
- सीएमओ ने जांच के लिए 14 नवंबर को चार सदस्यीय कमेटी बनाई।
- कमेटी के अध्यक्ष मंडलीय अस्पताल के एसआईसी डॉ. एसपी सिंह ने अपनी जगह वरिष्ठ परामर्शदाता डॉ. सत्येन राय को जांच अधिकारी नामित किया।
- लेकिन अब तक जांच शुरू नहीं हो पाई।
- रविवार (17 नवंबर) को अस्पताल बंद होने के कारण रिपोर्ट समय पर देना और चुनौतीपूर्ण हो गया है।
जांच कमेटी में कौन-कौन?
- डॉ. सत्येन राय – जांच अधिकारी (नामित)
- डॉ. गिरीश चंद्र – सीएमएस, शास्त्री अस्पताल
- डॉ. एसएस कन्नौजिया – एडिशनल सीएमओ
- डॉ. फाल्गुनी गुप्ता – अधीक्षक, शहरी सीएचसी चौकाघाट
स्वास्थ्य मंत्री का रुख
- स्वास्थ्य मंत्री ने सोशल मीडिया पर सख्त कार्रवाई का वादा किया था।
- उन्होंने जांच रिपोर्ट 18 नवंबर तक सौंपने के निर्देश दिए थे।
- हालांकि, अब तक जांच शुरू न होना कार्रवाई की गंभीरता पर सवाल उठाता है।
सीएमओ का क्या कहना है?
सीएमओ डॉ. संदीप चौधरी का कहना है कि स्वास्थ्य मंत्री के निर्देश के तहत एक सप्ताह के भीतर रिपोर्ट सौंप दी जाएगी।
सवाल उठता है
जांच में देरी क्या स्वास्थ्य विभाग की गंभीरता और अनुशासनहीनता को उजागर नहीं करती? क्या सरकारी आदेश केवल कागजों तक ही सीमित रह जाते हैं?